नर्मदा नदी में साबुन के उपयोग नही करने की ली शपथ
नदियों के किनारे
शौच करना
महापाप- कमिश्नर
शहडोल 04 नवम्बर 2022- कमिश्नर शहडोल संभाग राजीव शर्मा की पहल पर आज नर्मदा नदी के तट पर बसे गांव दमगढ़ के ग्रामीणों ने नर्मदा नदी के जल की पवित्रता एवं शुद्धता बनाए रखने
नर्मदा नदी में नहाते समय और कपडे धोंते समय साबुन और सोडे का उपयोग नही करने की शपथ ली। साथ ही ग्रामीणों ने नर्मदा नदी के किनारे शौच नही करने और गांव को नशा मुक्त बनाने की भी शपथ ली। इस अवसर पर ग्रामीणों को सम्बोंधित करते हुए कमिश्नर ने कहा कि हमारे पवित्र ग्रंथो में यह लिखा है कि नदियों के किनारे शौच करना महापाप है, नदियों के किनारे शौच करने से नदियों का जल अपवित्र और दूषित होता है। उन्होने ग्रामीणों से कहा कि वे नदियों के किनारे कभी भी शौच न करे। शौचालयों का उपयोग करे और लोगो को शौचालयों का उपयोग करने लिए प्रेरित भी करें।
कमिश्नर ने कहा कि नर्मदा नदी में स्नान करते समय और कपडे धोते समय साबुन और सोडे का उपयोग करने से नर्मदा नदी का पवित्र जल दूषित होता है। अतः नर्मदा नदी में कपडे धोते समय और स्नान करते समय साबुन और सोडे का उपयोग नही करेंगें। उन्होंने कहा कि दूषित जल से जीव जंतु नष्ट होते है और नदी अपवित्र भी होती है।
कमिश्नर ने सुझाव दिया कि इस विषय में ग्राम पचायत, ग्राम सभाओं में निर्णय लेकर नदियों में नहाते समय व कपडे़ धोते समय साबुन और सोडे का उपयोग प्रतिबंधित कर सकती है। कमिश्नर ने यह भी सुझाव दिया कि ग्राम पंचायते नदियों के किनारे शौच करने वाले व्यक्तियों पर जुर्माना भी लगा सकती है। उन्होंने कहा कि इस विषय में ग्राम सभा की बैठक लेकर इस दिशा में कार्य कर सकते है। कमिश्नर ने कहा कि गांव को स्वच्छ और सुंदर बनाने के लिए सभी ग्रामीणों की भागीदारी आवश्यक है। गांव का विकास अकेला सरपंच नही कर सकता इसमें सभी की सहमति और भागीदारी आवष्यक है। उन्होंने कहा कि स्वस्थ्य लोग स्वस्थ्य समाज का निर्माण करते है। उन्होंने कहा कि हमारी परंपरागत खान-पान की आदतों को नही छोडना चाहिए, हमारी पुरानी खान-पान की आदते अच्छी थी उन्हें जिंदा बनाए रखने का प्रयास करना चाहिए।
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