1 जून 2020 से शुरू हो रही ट्रेन सेवाओं के लिए दिशानिर्देश
- क्रमिक रूप से ट्रेन सेवाओं की बहाली ।
- ये प्रवासियों और उन लोगों की मदद करने के लिए चलेंगी, जो श्रमिक ट्रेनों के अलावा अन्य से यात्रा करना चाहते हैं।
- ये नियम श्रमिक ट्रेनों, जो बड़ी संख्या में चलती रहेंगी, के अलावा अन्य ट्रेनों के लिए हैं।
- 100 जोड़ी ट्रेनों की सूची तैयार है।
- टिकटों की बुकिंग और चार्ट का बनना, कोटा, रियायतें, रद्दीकरण और धन वापसी, स्वास्थ्यजांच, खानपान, लिनन आदि के लिए नियम बनाए गए।
- इन ट्रेनों के लिए बुकिंग 21 मई 2020 को सुबह 10 बजे से शुरू होगी।
- अन्य नियमित यात्री सेवाएं, जिसमें सभी मेल/एक्सप्रेस शामिल हैं, यात्री और उपनगरीय सेवाएं अगले निर्देश तक रद्द रहेंगी।
- ट्रेन में कोई अनारक्षित कोच नहीं होगा।
- किराया सामान्य होगा और आरक्षित होने के कारण सामान्य (जीएस) कोचों के लिए सेकेंड सीटिंग (2एस) का किराया लिया जाएगा और सभी यात्रियों को सीट उपलब्ध कराई जाएगी।
- आईआरसीटीसी की वेबसाइट या मोबाइल एप के जरिए केवल ऑनलाइन ई-टिकट ही कराए जा सकेंगे। किसी भी रेलवे स्टेशन के आरक्षण काउंटर पर कोई टिकट बुक नहीं किया जाएगा।
- एआरपी (अग्रिम आरक्षण की अवधि) अधिकतम 3
स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण मंत्रालय (एमओएचएफडब्लू) और गृह मंत्रालय (एमएचए) के परामर्श से रेल मंत्रालय (एमओआर) ने तय किया है कि 1 जून 2020 से भारतीय रेलवे की ट्रेन सेवाओं को आंशिक रूप से बहाल किया जाएगा।
भारतीय रेलवे अनुलग्नक (नीचे दिए गए) में सूचीबद्ध 200 यात्री ट्रेनों का संचालन शुरू करेगी। ये ट्रेनें 1 जून 2020 से चलेंगी और इन सभी ट्रेनों की बुकिंग 21 मई 2020 को सुबह 10 बजे से शुरू होगी।
ये विशेष सेवाएं 1 मई 2020 से चलाई जा रही मौजूदा श्रमिक स्पेशल ट्रेनों और 12 मई से चल रही स्पेशल एसी ट्रेनों (30 ट्रेनें) के अतिरिक्त होंगी।
अन्य नियमित यात्री सेवाएं, जिसमें सभी मेल/एक्सप्रेस, यात्री ट्रेनें शामिल हैं और उपनगरीय सेवाएं अगले निर्देश तक रद्द रहेंगी।
ट्रेन का प्रकार: नियमित ट्रेनों के पैटर्न पर विशेष ट्रेनें
ये एसी और नॉन एसी दोनों श्रेणियों के साथ पूरी तरह से आरक्षित ट्रेनें होंगी। जनरल कोच (जीएस) में बैठने के लिए भी आरक्षित सीट होगी। ट्रेन में कोई भी अनारक्षित कोच नहीं होगा।
किराया सामान्य होगा और सामान्य कोचों (जीएस) के आरक्षित होने के कारण सेकेंड सीटिंग (2एस) का किराया लिया जाएगा और सभी यात्रियों को सीट उपलब्ध कराई जाएगी।
टिकटों की बुकिंग और चार्ट बनना:
- आईआरसीटीसी की वेबसाइट या मोबाइल एप के माध्यम से केवल ऑनलाइन ई-टिकट बुक कराए जा सकेंगे। किसी भी रेलवे स्टेशन के आरक्षण काउंटर पर कोई टिकट बुक नहीं होगा। 'एजेंटों' (दोनों आईआरसीटीसी एजेंट और रेलवे एजेंट) के माध्यम से टिकटों की बुकिंग की अनुमति दी जाएगी।
- एआरपी (अग्रिम आरक्षण की अवधि) अधिकतम 30 दिनों की होगी।
- मौजूदा नियमों के अनुसार आरएसी और प्रतीक्षा सूची तैयार की जाएगी। हालांकि प्रतीक्षा सूची के टिकटधारकों को ट्रेन में चढ़ने की अनुमति नहीं दी जाएगी।
- कोई भी अनारक्षित (यूटीएस) टिकट जारी नहीं किया जाएगा और यात्रा के दौरान किसी भी यात्री को कोई टिकट जारी नहीं किया जाएगा।
- इन ट्रेनों में कोई भी तत्काल और प्रीमियम तत्काल बुकिंग की अनुमति नहीं दी जाएगी।
- ट्रेन के प्रस्थान करने से कम से कम 4 घंटे पहले पहला चार्ट तैयार किया जाएगा और दूसरा चार्ट निर्धारित प्रस्थान से कम से कम 2 घंटे (अभी के 30 मिनट के प्रावधान से अलग) तैयार किया जाएगा। पहले और दूसरे चार्ट बनने के बीच में केवल ऑनलाइन करंट बुकिंग की अनुमति होगी।
- सभी यात्रियों की अनिवार्य रूप से जांच की जाएगी और केवल लक्षण न दिखाई देने वाले यात्रियों को ही ट्रेन में प्रवेश/चढ़ने की अनुमति होगी।
- इन विशेष सेवाओं से यात्रा करने वाले यात्रियों को निम्नलिखित सावधानियों का पालन करना होगा-
- केवल कन्फर्म टिकट वाले यात्रियों को ही रेलवे स्टेशन में प्रवेश करने की अनुमति होगी।
- सभी यात्रियों को प्रवेश और यात्रा के दौरान फेस कवर/मास्क पहनना चाहिए।
- स्टेशन पर थर्मल स्क्रीनिंग की सुविधा के लिए यात्रियों को कम से कम 90 मिनट पहले स्टेशन पर पहुंचना होगा। केवल लक्षण न पाए जाने वाले यात्रियों को ही यात्रा करने की अनुमति होगी।
- यात्रियों को दोनों जगह स्टेशन पर और ट्रेनों के अंदर भी सामाजिक दूरी का पालन करना होगा।
- अपने गंतव्य पर पहुंचने पर यात्रा करने वाले यात्रियों को उन स्वास्थ्य प्रोटोकॉल का पालन करना होगा, जो गंतव्य राज्य/केंद्रशासित प्रदेश द्वारा तय किए गए हैं।
मंजूर कोटा : इन विशेष ट्रेनों में नियमित ट्रेनों में स्वीकृत सभी कोटे की अनुमति दी जाएगी। इस उद्देश्य के लिए सीमित संख्या में आरक्षण काउंटर (पीआरएस) संचालित किए जाएंगे। हालांकि इन काउंटरों के माध्यम से सामान्य टिकट की बुकिंग नहीं की जा सकती है।
रियायतें: इन विशेष ट्रेनों में केवल चार श्रेणियों में दिव्यांगजन रियायत और 11 श्रेणियों में मरीज रियायतों की अनुमति है।
रद्दीकरण और वापसी के नियम : रेलवे यात्री (टिकट रद्दीकरण और किराया वापसी) नियम, 2015 लागू होगा।
इसके अलावा यात्री में कोरोना के लक्षण पता चलने पर यात्रा के योग्य नहीं पाए जाने की स्थिति में किराया वापसी के संबंध में पहले से जारी निम्नलिखित निर्देश लागू होंगे।
गृह मंत्रालय के दिशानिर्देशों के अनुसार सभी यात्रियों की अनिवार्य रूप से जांच की जाएगी और केवल लक्षण न पाए जाने वाले यात्रियों को ही ट्रेन में प्रवेश/चढ़ने की अनुमति होगी।
अगर स्क्रीनिंग के दौरान यात्री का तापमान काफी ज्यादा/कोविड-19 के लक्षण आदि पाए जाते हैं तो कन्फर्म टिकट होने के बावजूद उसे यात्रा करने की अनुमति नहीं होगी। इस दशा में निम्नलिखित तरीके से यात्री को पूरा किराया दिया जाएगा-
- एकल यात्री वाले पीएनआर पर।
- किसी सामूहिक टिकट पर अगर एक यात्री को यात्रा के अयोग्य पाया जाता है और उस पीएनआर पर अन्य सभी यात्री भी यात्रा करना नहीं चाहते हैं तो इस दशा में सभी यात्रियों को पूरा किराया वापस दिया जाएगा।
- किसी सामूहिक टिकट पर अगर एक यात्री को यात्रा के लिए अयोग्य पाया जाता है, हालांकि उसी पीएनआर पर अन्य यात्री यात्रा करना चाहते हैं तो इस दशा में पूरा किराया उसे ही वापस दिया जाएगा जिसे यात्रा करने की अनुमति नहीं दी गई।
उपरोक्त सभी मामलों के लिए मौजूदा नियम के अनुसार टीटीई प्रमाणपत्र यात्री को प्रवेश/चेकिंग/स्क्रीनिंग वाली जगहों पर जारी किया जाएगा। इसमें इस बात का जिक्र होगा कि 'एक या अधिक यात्रियों में कोविड-19 के लक्षणों के कारण कितने यात्रियों ने सफर नहीं किया।'
टीटीई प्रमाणपत्र प्राप्त करने के बाद मूल से और यात्रा की तारीफ से 10 दिनों के भीतर यात्रा नहीं करने वाले यात्रियों का किराया वापस लेने के लिए ऑनलाइन टीडीआर भरना होगा।
मौजूदा प्रावधान के अनुसार जारी किया गया टीटीई प्रमाणपत्र यात्री द्वारा आईआरसीटीसी को भेजा जाएगा और बाकी यात्रियों का पूरा किराया/जिन लोगों ने यात्रा नहीं की है उनका पूरा किराया, आईआरसीटीसी द्वारा ग्राहक के खाते में वापस कर दिया जाएगा।
उपरोक्त उद्देश्य के लिए, सीआरआईएस और आईआरसीटीसी कोविड-19 के लक्षणों के कारण यात्रा न करने वाले यात्रियों के टीडीआर दाखिल करने के लिए आवश्यक बदलाव करेंगे। एक विकल्प 'उच्च तापमान/कोविड-19 लक्षणों के कारण कुछ/सभी यात्रियों को रेलवे द्वारा यात्रा करने की अनुमति नहीं' उपलब्ध होगा।
खानपान:
किराये में खानपान का कोई शुल्क शामिल नहीं किया जाएगा। प्री-पेड भोजन बुकिंग, ई-कैटरिंग का प्रावधान नहीं रहेगा। हालांकि सीमित ट्रेनों में, जिसमें पेंट्री कार जुड़ी होगी, आईआरसीटीसी केवल भुगतान के आधार पर सीमित खाने-पीने और सीलबंद पीने के पानी की व्यवस्था करेगा। टिकट बुक करते समय इस बात की जानकारी यात्रियों को उपलब्ध कराई जाएगी।
यात्रियों को अपना भोजन और पीने का पानी साथ लेकर चलने के लिए प्रोत्साहित किया जाता है।
रेलवे स्टेशनों पर सभी स्थायी खानपान और वेंडिंग इकाइयां (बहुउद्देशीय स्टॉल, बुक स्टॉल, विविधि/केमिस्ट स्टॉल आदि) खुली रहेंगी। फूड प्लाजा और जलपान गृह आदि में पकाए गए सामानों को केवल ले जाने के लिए दिया जा सकता है क्योंकि बैठकर खाने की कोई व्यवस्था नहीं है।
लिनन और कंबल:
ट्रेन के भीतर कोई लिनन, कंबल और पर्दे उपलब्ध नहीं कराए जाएंगे। यात्रियों को सलाह दी जाती है कि वे यात्रा के लिए अपना लिनन लेकर चलें। इस उद्देश्य के लिए एसी कोचों के भीतर का तापमान उपयुक्त रूप से नियंत्रित रखा जाएगा।
जोनल रेलवे को यह सुनिश्चित करने का निर्देश दिया गया है कि रेलवे स्टेशनों पर जहां तक संभव हो प्रवेश और निकास का द्वार अलग-अलग हो, जिससे आवाजाही के दौरान यात्रियों का आमना-सामना न हो। जोनल रेलवे को स्टेशनों और ट्रेनों में मानक सामाजिक दूरी और रक्षा, सुरक्षा और स्वच्छता प्रोटोकॉल संबंधित दिशानिर्देशों के द्वारा निर्देशित किया जाएगा।
सभी यात्रियों को आरोग्य सेतु एप्लीकेशन को डाउनलोड और इस्तेमाल करना आवश्यक होगा। यात्रियों को कम सामानों के साथ सफर करने की सलाह दी जाती है।
गृह मंत्रालय के दिशानिर्देश के अनुसार यात्री (यात्रियों) और उन्हें रेलवे स्टेशन पहुंचाने और ले जाने के लिए गाड़ी के ड्राइवर की आवाजाही को कन्फर्म्ड ई-टिकट के आधार पर ही अनुमति दी जाएगी।
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